जयपुर
करीब सात साल बाद पूर्व केंद्रीय मंत्री सुभाष महरिया भाजपा में शामिल हो गए। उनके साथ कुछ IPS और IAS ने भी भाजपा का दामन थमा है। इन सभी को शुक्रवार को पार्टी के प्रदेश मुख्यालय पर वरिष्ठ नेताओं की मौजूदगी में भाजपा में शामिल किया गया। इस बीच महरिया का कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे के नाम लिखा गया त्यागपत्र वायरल हो गया है।
सुभाष महरिया 2016 में नाराज होकर कांग्रेस में शामिल हो गए थे और आज फिर उन्होंने कांग्रेस का हाथ छोड़ दिया और भाजपा में शामिल हो गए। सुभाष महरिया के साथ पूर्व IPS गोपाल मीणा, पूर्व IPS रामदेव सिंह खैरवा, पूर्व IAS पीआर मीणा, राजस्थान विश्वविद्यालय के पूर्व महासचिव और कठूमर विधानसभा क्षेत्र से आरएलपी के प्रत्याशी रहे डॉ. नरसी किराड़ ने भी भाजपा की सदस्य्ता ग्रहण की । प्रदेश BJP मुख्यालय में महरिया ने आज एक बार फिर BJP की सदस्यता ग्रहण की। भाजपा के प्रदेश प्रदेश प्रभारी अरुण सिंह और प्रदेशाध्यक्ष सीपी जोशी ने उन्हें सदस्यता ग्रहण करवाई। इस दौरान नेता प्रतिपक्ष राजेंद्र राठौड़, उप नेता प्रतिपक्ष सतीश पूनिया और विजय बैंसला भी मौजूद रहे।
इस दौरान महरिया ने कहा- फिर से अपनी परिवार में आकर बहुत खुशी महसूस कर रहा हूं। मैं BJP कार्यकर्ता के तौर पर फिर से शामिल हुआ हूं। ऐसे में पार्टी मुझे जो भी, जहां भी जिम्मेदारी देगी मैं उसे अच्छे से निभाने की कोशिश करूंगा। वाजपेयी सरकार में मंत्री रहे सुभाष महरिया तीन बार सांसद रह चुके हैं।
सुभाष महरिया वर्ष 1998 में भाजपा के टिकट पर सीकर से चुनाव लड़कर पहली बार सांसद बने थे। वर्ष 1999 में महरिया दूसरी बार जीतकर सांसद बने। इस बार अटल बिहारी वाजपेयी के नेतृत्व में बनी एनडीए की सरकार में ग्रामीण विकास मंत्रालय के राज्यमंत्री रहे। महरिया इसके बाद लगातार तीसरी बार वर्ष 2004 में सीकर से सांसद रहे। वर्ष 2009 में महरिया लोकसभा का चुनाव हार गए। इसके बाद इन्हें वर्ष 2010 में भाजपा की राष्ट्रीय कार्यकारिणी का सदस्य बनाया गया था। वर्ष 2014 में भाजपा ने सीकर से महरिया को टिकट नहीं दिया था। इससे नाराज होकर महरिया ने कांग्रेस की सदस्यता ले ली थी। वर्ष 2019 में उन्होंने कांग्रेस के टिकट पर चुनाव लड़ा लेकिन हार गए। माना जा रहा है कि वर्तमान प्रदेश सरकार में पिछले काफी समय से पूछ नहीं होने के कारण महरिया नाराज थे।
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