जयपुर
राजस्थान के सरकार कॉलेजों में सेवारत असिस्टेंट प्रोफेसर के लिए अच्छी खबर है। सरकार के एक फैसले ने अब उनके कैरियर एडवांस स्कीम (CAS) के तहत प्रमोशन की राह खोल दी है। असिस्टेंट प्रोफेसर लम्बे समय से प्रमोशन की मांग करते चले आ रहे थे। सरकार ने अब तीन सदस्यीय स्क्रूटनी कमेटी गठित कर दी है।
उच्च शिक्षा (ग्रुप-3) विभाग के शासन उपसचिव प्रथम बृजमोहन नोगिया की ओर से जारी आदेशों के अनुसार यह स्क्रूटनी कमेटी सहायक आचार्य (वरिष्ठ वेतनमान), सहायक आचार्य (चयनित ग्रेड) और सह आचार्य के पदों पर पदोन्नति के पात्र अभ्यार्थियों के प्रस्ताव तैयार करेगी। डा. अनिल खंडेलवाल, सह आचार्य, गणित राजकीय महाविद्यालय, दौसा इस स्क्रूटनी कमेटी के समन्वयक होंगे। जबकि डा. समीर शर्मा, आचार्य प्राणीशास्त्र, राजकीय महाविद्यालय, सवाईमाधोपुर और डा. राखी यादव, आचार्य इतिहास, राजकीय कला महाविद्यालय चिमनपुरा इस कमेटी के सदस्य होंगे।
अब आगे क्या?
यह स्क्रूटनी कमेटी अब सभी सरकारी कॉलेज के IQAC इंटरनल क्वालिटी एश्योरेंस सैल के जरिए आवेदन पत्रों की जांच करेगी और उसके बाद पात्र अभ्यर्थियों की सूची तैयार कर सरकार को सौंपेगी। अखिल भारतीय राष्ट्रीय शैक्षिक महासंघ (ABRSM), राजस्थान (उच्च शिक्षा) ने कमेटी गठन का स्वागत किया है और उम्मीद जाहिर की है कि सीएएस योजना के अन्तर्गत शीघ्र ही वरिष्ठ, चयनित वेतनमान, pay band IV हेतु पात्र शिक्षकों से आवेदन आमंत्रित कर कार्रवाई प्रारम्भ की जायेगी।
एबीआरएसएम, राजस्थान (उच्च शिक्षा) के प्रदेश महामंत्री डॉ. सुशील कुमार बिस्सुने बताया कि उनके संगठन ने 26 अप्रैल उच्च शिक्षामन्त्री एवं आयुक्त सुनील शर्मा से भेंट कर आचार्य पद पर पदोन्नति हेतु शेष रहे पदोन्नति प्रकरणों सहित राज्य में लम्बित सभी सीएएस प्रकरणों के समाधान तथा RVRES शिक्षकों के पदनाम परिवर्तन कर उन्हें भी नियमानुसार सीएएस का लाभ अविलम्ब देने की अपनी मांग की थी। तब दोनों ने संगठन के पक्ष को गम्भीरता से सुनते हुए शीघ्र यथोचित वैधानिक कार्यवाही का आश्वासन दिया था। उसी के परिणामस्वरूप सीएएस प्रकरणों के फार्म की जांच हेतु कमेटी का गठन किया।
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