आगरा
उत्तर प्रदेश के आगरा से एक दिल दहलाने वाली घटना सामने आई है। यहां एक कारोबारी के इकलौते बेटे को 8 दिन पहले अगवा किया और दो करोड़ की फिरौती मांगी। फिरौती नहीं मिली तो युवक की हत्या कर दी गई। यही नहीं हत्या के बाद शव को श्मशान घाट पर पीपीई किट पहनाकर जला दिया गया। पुलिस ने इस मामले में 5 लोगों को गिरफ्तार कर लिया है। इस पूरी वारदात को उसके दोस्तों ने ही अंजाम दिया।
अपहरण की घटना के बाद से ही पुलिस आरोपियों की तलाश में जुटी हुई थी। मुखबिर की सूचना के आधार पर पुलिस ने दबिश दी और एक के बाद एक 5 आरोपियों को पकड़ लिया। गिरफ्तार किए आरोपियों के नाम सुमित असवानी, हैप्पी खन्ना, मनोज बंसल, रिंकू और हर्ष चौहान हैं। इनके पास से 7 मोबाइल फोन, 1200 रुपए कैश और दो कार बरामद की गई हैं। इन पांचों ने मिलकर 21 जून को कारोबारी सुरेश चौहान के इकलौते बेटे सचिन का अपहरण कर 2 करोड़ रुपए की फिरौती मांगी थी। फिरौती नहीं देने पर आरोपियों ने सचिन की हत्या कर दी और बल्केश्वर घाट ले जाकर रवि वर्मा के नाम से उसका अंतिम संस्कार कर दिया। बरहन कस्बा के मूल निवासी सुरेश चौहान आगरा के दयालबाग क्षेत्र में रहते हैं। उनका अपना कोल्ड स्टोरेज है।
ऐसे पकड़ में आए आरोपी
21 जून की रात लोअर टी-शर्ट पहन कर टहलने निकला सुरेश चौहान का इकलौता पुत्र सचिन चौहान (25 ) लापता हो गया था। परिजनों ने थाना न्यू आगरा में उसकी गुमशुदगी दर्ज कराई थी। इस बीच परिजनों से दो करोड़ रुपए की फिरौती मांगी गई। मामले के खुलासे के लिए एसटीएफ भी सक्रिय हो गई थी। रविवार को आरोपी फर्जी आईडी पर सिम खरीदने जा रहे थे, मगर उससे पहले पकड़ लिया गया।
एसटीएफ को मुखबिर से सूचना मिली थी कि इस वारदात में शामिल एक संदिग्ध व्यक्ति वॉटर वर्क्स चौराहे पर आया है। इसके बाद टीम ने यहां पहुंचकर उसे पकड़ लिया। पूछताछ में उसने अपना नाम हैप्पी खन्ना बताया। हैप्पी ने सचिन का अपहरण करने की बात भी कबूल कर ली और बाकी साथियों का नाम भी बता दिया। इसके बाद सुमित असवानी ने बताया कि सचिन चौहान ने उससे 40 लाख रुपए उधार लिए थे, जिसे वो लौटा नहीं रहा था। इसलिए उसने, हैप्पी, रिंकू और मनोज के साथ मिलकर सचिन के अपहरण की योजना बनाई। इसमें उनकी मदद हर्ष चौहान ने की। उन्होंने सचिन के पिता सुरेश से 2 करोड़ रुपए की फिरौती भी मांगी थी, जिसे नहीं देने पर उन्होंने सचिन की हत्या कर दी और आगरा के बलेश्वर घाट ले जाकर उसका अंतिम संस्कार भी करवा दिया।
कोविड मरीज बता कर उसका अंतिम संस्कार
सचिन उनका दोस्त था। इसलिए उसी रात में ही उसकी गला घोंटकर हत्या कर दी थी। इसके बाद एक किट बैग और पीपीई किट खरीदकर बल्केश्वर शमशानघाट गए और सचिन को कोविड मरीज बता कर उसका अंतिम संस्कार करवा दिया था। पीपीई किट से लोग उन्हें पहचान नहीं पाए और कोरोना का नाम सुनकर कोई शव के पास तक नहीं आया।
क्या आपने ये खबरें भी पढ़ीं?
- कार और ट्रेलर में भीषण भिड़ंत, एक ही परिवार के 3 बच्चों समेत 5 की मौत, 8 घायल
- दलील पूरी होते ही कोर्ट से बाहर निकले वकील, जज हुए नाराज | इसके बाद फिर ये हुआ | दिल्ली शराब घोटाला मामला
- आगरा में हाईवे पर एक्सीडेंट: काल बनकर आया बेकाबू ट्रक दम्पती को रौंद गया | भाई की शादी से लौट रहे थे
- डीग: ई-मित्र संचालकों द्वारा रजिस्ट्रेशन के नाम पर किसानों से अधिक वसूली करने की शिकायत | भारतीय किसान यूनियन (भानू) ने प्रशासन को दिया ज्ञापन
- वैर के ग्राम जहाज में 24 अप्रैल से शुरू होगा कारिस देवबाबा का लक्खी मेला
- भरतपुर के वार्ड 43 में धूमधाम से मनाई हनुमान जयंती
- जयपुर में घर में घुसकर महिला का मर्डर, बिस्तर पर मिली लाश | कमरा बंद कर छत के रास्ते फरार हुआ बदमाश
- SMS हॉस्पिटल में ब्लड डोनेशन के बाद युवक की मौत | रक्तदान के बाद अचानक उठा सीने में दर्द
- सरकारी बैंक नहीं कर सकते यह काम; बॉम्बे हाईकोर्ट ने लगाई रोक | अब रद्द हो जाएगा ये सर्कुलर, जानें पूरा मामला
- भरतपुर: हरित बृज सोसायटी ने श्रीबांके बिहारी मंदिर परिसर में बांधे परिंडे, घोंसले और छायादार पौधे भी लगाए जाएंगे