पायलट समर्थक विधायकों ने विधानसभा में फिर गहलोत सरकार के खिलाफ खोला मोर्चा

जयपुर 


​​​​​​​हेमाराम चौधरी और ब्रजेंद्र ओला बोले- मेरे क्षेत्र की जनता ने क्या बिगाड़ा है?


कांग्रेस में आपसी खींचतान थमने का नाम नहीं ले रही है। विधानसभा में सड़क और पुल अनुदान मांगों पर बहस के दौरान सचिन पायलट समर्थक दो और विधायक गहलोत सरकार बरस पड़े और कहा कि उनके क्षेत्र की जनता ने ऐसा क्या बिगाड़ा था कि उनके साथ भेदभाव किया जा रहा है। एक हफ्ते में 5 पायलट समर्थक विधायक अपनी ही सरकार के खिलाफ मोर्चा खोल चुके हैं।

इस बार गहलोत सरकार के खिलाफ मोर्चा खोलने के लिए पायलट समर्थक गुढामालानी विधायक हेमाराम चौधरी और झुंझुनूं विधायक ब्रजेंद्र सिंह ओला सामने आए और अपनी ही सरकार पर निशाना साधा। दोनों विधायकों ने सड़क निर्माण में उनके क्षेत्र के साथ भेदभाव का खुलकर आरोप लगाया। इससे पहले पायलट समर्थक तीन विधायकों ने एससी/एसटी विधायकों के साथ भेदभाव का गहलोत सरकार पर आरोप लगाया था। अब दो विधायक और मैदान में आ गए।

हेमाराम चौधरी ने कहा- मैं जरूर बोलूंगा, मैं कोई भी खामियाजा भुगतने को तैयार
हेमाराम चौधरी ने कहा- मुझे पता है मुझे नहीं बोलने देंगे। बोलना बहुत कुछ है। मेरी आवाज को आप यहां दबा सकते हो। यहां नहीं बोलने दोगे। दूसरी जगह बोल देंगे। बोलने का क्या खामियाजा मुझे भुगतना है।  यह मैं भुगतने को तैयार हूं। मेरे से कोई दुश्मनी है तो जो सजा दें। भुगतने को तैयार हूं। गुढामालानी की जनता का क्या दोष है, जो नाम के लिए एक सड़क दी है। होशियारी से सायला गुढामालानी सड़क मंजूर की। इस सड़क से गुढामालानी का क्या लेना देना? केवल नाम से राजी करना चाहते हैं।

विधायक ने आगे कहा कि मेरे विधानसभा क्षेत्र में कंस्ट्रक्शन कंपनी ने बहुत घटियां सड़कें बनाई। जांच करवा ली जाए तो दूध का दूध पानी का पानी हो जाएगा। यहां तो किससे कहें। इसकी सीबीआई से जांच होनी चाहिए। राजस्थान में कोई एजेंसी नहीं है जो निष्पक्ष जांच करेंं।

जो कुकृत्य भाजपा ने किया वही आप भी कर रहे हैं
हेमाराम ने कहा कि गुढामालानी में एससी छात्रावास भवन की बिल्डिंग निरस्त कर दी। जो कुकृत्य भाजपा ने किया। वही आपने कर दी। फिर आप में और उनमें क्या फर्क रह गया। खाली एससी कल्याण की बात करने से इनका भला नहीं होगा। उस एससी छात्रावास की वापस मंजूरी दीजिए। अब निरस्त कर दिया यह आपकी मर्जी है। किसके कहने पर निरस्त किया। मैंंने तो कहा नहीं।

ब्रजेंद्र सिंह बोले- ओला को खाली रख दो लेकिन जनता को तो खाली मत रखो
विधायक ब्रजेंद्र सिंह ओला ने कहा- झुंझुनूं से पचेरी सड़क नेशनल हाईवे बन जाती लेकिन सरकार ने एनएचएआई को ट्रांसफर नहीं किया। नेशनल हाईवे पर 100 फीसदी पैसा भारत सरकार देती है तो फिर इस सड़क को क्यों नहीं दिया जा रहा। झुंझुनूं के लिए बजट में एक शब्द नहीं बोला। यूपीए राज में ही यह सड़क​ मंजूर हुई थी। रेवाड़ी से फतेहपुर की इस सड़क की मांग मेरे पिताजी ने की थी। जब केंद्रीय मंत्री रहते उनका देहांत हुआ तो उनके विभाग ऑस्कर फर्नांडीज को मिले थे। फर्नाडीज ने मुझसे कहा था कि शीशराम ओला एक सड़क का जिक्र करते थे। मैंने उन्हें इस सड़क के बारे में बताया तो उस वक्त यह सड़क मंजूर हुई थी। हमारी सरकार ही इस सड़क को नहीं बना रही है तो यह दुर्भाय की बात है। हमारे लोगों में हीनभावना आती है पास में ही हरियाणा में शानदार सड़कें हैं और मेरे यहां टूटी फूटी सड़कें।

मेरे गांव की सड़क नहीं बनानी तो उसको छोड़कर ही बना दीजिए
ओला यहीं नहीं रुके। उन्होंने कहा कि चिड़ावा से सुल्ताना सड़क इसलिए नहीं बना रहे कि रास्ते में मेरा गांव पड़ता है। मेरा गांव पड़ता है तो चिड़ावा से सुल्ताना की सड़क को मेरा गांव छोड़कर ही बना दीजिए। बृजेंद्र ओला को खाली रख दो। लेकिन उस विधानसभा क्षेत्र की जनता को तो खाली मत रखो। एकमात्र झुंझुनूं जिला मुख्यालय ही ऐसा रह गया है जो नेशनल हाईवे से नहीं जुड़ा है। भारत सरकार ने नेशनल हाईवे घोषित किया और हम इसका फायदा नहीं उठाना चाहते। हरियाणा सरकार ने फोर लेन बना दिया और हमारी सरकार की सोच नहीं है।






 

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