पुलिस के हत्थे चढ़ा हाईप्रोफाइल नक़ल गिरोह, स्कूल लेक्चरर और टीचर शामिल, SI भर्ती के लिए हुआ था 20 लाख का सौदा

जयपुर 

NEET परीक्षा की तरह अब राजस्थान पुलिस की SI भर्ती में भी 20 लाख का सौदा कर नक़ल करने वाला एक गिरोह भी अब पुलिस के हत्थे चढ़ गया है। इस गिरोह में सरकारी स्कूल का एक लेक्चरर और टीचर तक शामिल हैं। पुलिस ने इस गिरोह के आठ लोगों को गिरफ्तार कर लिया है।

गिरफ्तार किए गए इन आठ लोगों में  3 फर्जी परीक्षार्थी, 4 दलाल व एक असली अभ्यर्थी शामिल है। इन्होंने परीक्षार्थियों के आधार कार्ड, फोटो को काट-छांट कर फर्जी डॉक्युमेंट बना लिए थे। डमी कैंडिडेट बैठाकर नकल करा रहे थे। इस गिरोह ने परीक्षा के लिए 18 से 20 लाख रुपए का सौदा किया था।

इन्हें किया गया गिरफ्तार
नेतराम मीणा (32) पुत्र लक्ष्मण मीणा निवासी भोजापुर सपोटरा करौली, केदार मीणा (40) पुत्र रंगलाल निवासी राजगढ़ अलवर, भभूता राम उर्फ रणजीत (28) पुत्र विरूधाराम निवासी सेड़वा बाड़मेर, भंवरलाल (38) पुत्र विजय सिंह निवासी धोरीमना बाड़मेर, महादेव (26) पुत्र मोहनलाल निवासी जम्बेश्वर कॉलोनी धोरीमना बाड़मेर, पुष्पेंद्र मीणा (26) पुत्र हुकमचंद निवासी नादौती करौली, हनुमानराम बिश्नोई पुत्र मूलाराम निवासी सेड़वा बाड़मेर और चनणाराम पुत्र खेताराम निवासी खरड़ धोरीमना बाड़मेर।

पहले फर्जी अभ्यर्थी पकड़ा
पुलिस के अनुसार RPSC की एसआई भर्ती परीक्षा का सेंटर ध्रुव बाल निकेतन सीनयर सेकेंडरी स्कूल में में फर्जी अभ्यर्थी बनकर युवक आया तो पुलिस ने उसे पकड़ लिया। उससे पूछताछ के बाद 7 आरोपियों को पकड़ा गया था। गिरोह सरगना नेतराम मीणा है। वह सवाई माधोपुर में स्कूल लेक्चरर है और उसका सहयोगी भंवरलाल भी बाड़मेर में सरकारी टीचर है। दोनों ने परीक्षा में नकल कराने की योजना बनाई। तैयारी करने वाले स्टूडेंटस को शामिल किया। नेतराम ने दौसा, करौली, सवाई माधोपुर व धौलपुर के छात्रों से संपर्क किया।

सौदे में ऐसे बंटना था हिस्सा
बीस लाख के सौदे में से  5 लाख रुपए डमी कैंडिडेट, 5 लाख रुपए दलाल व 10 लाख रुपए खुद रखते थे। पेपर होने के बाद डमी कैंडिडेट पेपर बुक व ओएमआर शीट दलाल के जरिए नेतराम को देता था। इसके बाद उन्हें नेतराम मूल परीक्षार्थी को दे देता था। आंसर की आने पर मूल परीक्षार्थी पेपर का मिलान कर पूरे रुपए देता था।

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